प्यार की शुरुआत
सुनीता यादव और नोमिना पटेल, दोनों रायपुर में रहती हैं। इनकी मुलाकात काम के सिलसिले में हुई थी। धीरे-धीरे दोनों के बीच दोस्ती हुई और फिर वह दोस्ती प्यार में बदल गई। सुनीता बताती हैं कि वे दोनों एक-दूसरे के बिना जी नहीं सकतीं। दोनों ने मिलकर अपनी मर्जी से शादी की है और साथ में खुश रहना चाहती हैं।
परिवार और समाज का विरोध
शादी के बाद जब परिवार वालों को इस बारे में पता चला, तो उन्होंने इसका विरोध किया। समाज के लोग भी तरह-तरह की बातें करने लगे। कुछ लोगों ने उन्हें "किन्नर" कहा, तो कुछ ने उन पर जादू-टोना करने तक के आरोप लगाए। दोनों लड़कियों का कहना है कि वे पूरी तरह सामान्य हैं और एक-दूसरे से सच्चा प्यार करती हैं।
कानूनी और सामाजिक स्थिति
भारत में समलैंगिकता अब अपराध नहीं है (धारा 377 हट चुकी है), लेकिन समलैंगिक विवाह को कानूनी मान्यता अब भी नहीं मिली है। नेपाल, थाईलैंड, ताइवान जैसे कुछ एशियाई देशों में सेम-सेक्स मैरिज को मान्यता है, लेकिन भारत में अभी भी यह समाज और कानून दोनों के लिए चुनौती बना हुआ है।
पुलिस और प्रशासन का रुख
जब मामला पुलिस तक पहुंचा, तो पुलिस ने दोनों पक्षों की बात सुनी। पुलिस ने साफ कहा कि दोनों बालिग हैं और अपनी मर्जी से जी सकते हैं। पुलिस ने परिवार वालों को समझाया कि वे अपनी बेटियों की खुशी में दखल न दें।
दोनों की भावनाएं
सुनीता और नोमिना दोनों ने साफ कहा कि वे एक-दूसरे के बिना नहीं रह सकतीं। अगर उन्हें अलग किया गया तो वे आत्महत्या तक कर सकती हैं। वे चाहती हैं कि समाज और परिवार उन्हें स्वीकार करे और उनकी खुशी में खुश रहे।
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